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ब्रिटेन-भारत परियोजना से पुनर्जीवित होगा बंगाल रेशम

रेशम सिल्क रिवर योजना के ध्यान का केंद्र है जो आर्ट्स काउंसिल और ब्रिटिश काउंसिल के समर्थन से शुरू हुआ री-इमैजिन इंडिया का एक महत्वपूर्ण भाग है।

यह 2016 to 2019 May Conservative government के तहत प्रकाशित किया गया था
silk river project

सिल्क रिवर योजना का लक्ष्य है पश्चिम बंगाल के मुर्शिदाबाद जिले से रेशम का उपयोग करके ब्रिटेन और बंगाल के बीच पुराने व्यापार संबंधों के नवीनिकरण पर ध्यान केंद्रित करना।

योजना का नेतृत्व कर रहे अली प्रेटी ने रेशम का उपयोग कर बड़े स्क्रॉल को डिज़ाइन और रंगने के लिए दोनों देशों से कलाकारों को और हूगली और थेम्स नदी के किनारे बसे दस समुदायों के लोगों को शामिल किया है। 28-29 जनवरी के सप्ताहांत को कोलकाता से 150 मील उत्तर में आयोजित हुए नौका रेस और एक सांस्कृतिक कार्यक्रम मुर्शिदाबाद धरोहर महोत्सव में मुर्शिदाबाद और कोलकाता के दस स्क्रॉल की प्रदर्शनी आयोजित की गई थी।

कोलकाता में ब्रिटिश उप उच्चायुक्त ब्रुस बकनेल योजना के लिए शुभकामनाएं देने की इच्छा से और बंगाल की धरोहर का स्थापत्य स्मारकों से लेकर स्थानीय रेशम के उपयोग सहित शिल्प तक पुनरुद्धार करने का जश्न मनाने के लिए कार्यक्रम में शामिल हुए।

silk river project 1

योजना का अगला कदम होगा थेम्स के समकक्ष स्क्रॉल को डिजाइन करना, जिसके बाद दोनों नदियों के किनारे से प्रत्येक नदी किनारे हेरिटेज वॉक की श्रृंखला में संयुक्त रूप से प्रदर्शनी आयोजित की जाएगी, ब्रिटेन से शुरू होकर दिसम्बर में पश्चिम बंगाल में इसका समापन होगा।

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स्टुअर्ट एडम
निदेशक, प्रेस एवं संचार
ब्रिटिश उच्चायोग,
चाणक्यपुरी, नई दिल्ली 110021
टेलीफोन: 44192100; फैक्स: 24192411

मेल करें: दीप्ति सोनी

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प्रकाशित 30 January 2017