विश्व की समाचार कथा

यूके-इंडिया तीनों सेनाओं का अभ्यास-कोंकण शक्ति

ब्रिटेन की सशस्त्र सेनाएं भारत में 21 से 27 अक्टूबर 2021 तक भारतीय सशस्त्र बलों के अपने समकक्षों के साथ कोंकण शक्ति के अभ्यास में भाग ले रही हैं।

यह 2019 to 2022 Johnson Conservative government के तहत प्रकाशित किया गया था

दोनों देशों के तीनों सेनाओं के सैन्य बल सैन्य अभ्यास कर रहे हैं, जो आज तक दोनों देशों द्वारा आयोजित सबसे महत्वाकांक्षी है। यह प्रधानमंत्री मोदी और जॉनसन द्वारा भारत-ब्रिटेन 2030 रोडमैप के मई 2021 की घोषणा के बाद से आयोजित किया जा रहा है।

एचएमएस क्वीन एलिजाबेथ के नेतृत्व में यूनाइटेड किंगडम का युद्धपोत स्ट्राइक ग्रुप (सीएसजी) भी इस अभ्यास में हिस्सा ले रहा है ।

यह अभ्यास रक्षा और सुरक्षा संबंधों को मजबूत करने और हिंद-प्रशांत क्षेत्र में रणनीतिक सहयोग को बढ़ावा देने में एक और कदम है। यह अभ्यास दो प्रगतिशील, आत्मविश्वासी लोकतंत्रों के सशस्त्र बलों को तालमेल में काम करने और शांति और सुरक्षा के प्रति हमारी साझा प्रतिबद्धता को बनाए रखने का अवसर प्रदान करता है।

फ़र्स्ट सी लॉर्ड एडमिरल और नौसेना प्रमुख एडमिरल टोनी राडाकिन ने कहा:

भारत के साथ सीएसजी का जुड़ाव व्यापक रणनीतिक साझेदारी को मजबूत करता है। भारतीय नौसेना और रॉयल नेवी दोनों ही विस्तृत नौवहन, बहु युद्धपोत वाहक नौसेनाएं हैं, जो हमें एक बहुत ही विशेष क्लब में रखते हैं। हमारी बढ़ती बातचीत नियमों पर आधारित अंतरराष्ट्रीय प्रणाली के प्रति साझा प्रतिबद्धता, खुले व्यापार के मूल्यों में विश्वास और खुला समुद्र की स्वतंत्रता के महत्व में एक प्रमाण है - सभी राष्ट्रों द्वारा इस अधिकार की मान्यता दी गई है।.

ब्रिटिश उच्चायोग में रक्षा सलाहकार गेविन थॉम्पसन ने कहा:

भारत के साथ मजबूत साझेदारी हिंद-प्रशांत क्षेत्र के लिए ब्रिटेन के झुकाव का एक प्रमुख स्तंभ है। प्रधानमंत्री मोदी और जॉनसन हमारी साझा सुरक्षा और समृद्धि के लिए एक ही सूत्र मे पिरोकर कार्य करने पर सहमत हुए। कोंकण शक्ति न केवल हमारे सशस्त्र बलों के सहयोग को बढ़ावा देगी बल्कि हमारे दो महान राष्ट्रों के लोगों को जोड़ने वाले जीवित कड़ी को भी मजबूत करेगी।

अधिक जानकारी

कोंकण शक्ति अभ्यास 21 अक्टूबर को शुरू हुआ था और 27 अक्टूबर को इसका समापन होगा। ब्रिटेन केवल तीसरा देश है जिसके साथ भारत तीनों सेनाओं का अभ्यास कर रहा है।

यह अभ्यास जुलाई में भारतीय नौसेना के साथ सीएसजी के दो दिवसीय संबंधों के बाद किया गया है, जिसके बाद अगस्त में ब्रिटेन तट पर कोंकण अभ्यास और इस महीने की शुरुआत में दोनों सेनाओं के बीच अजेय वारियर का अभ्यास किया गया था।

सीएसजी हिंद-प्रशांत क्षेत्र में छह महीने की तैनाती के हिस्से के रूप में इस क्षेत्र में कार्य कर रहा है। पहली सीएसजी तैनाती 26000 मील की यात्रा करेगी, जो 40 से अधिक देशों का दौरा करेगी। सीएसजी21 तैनाती की तस्वीरें/फुटेज यहां डाउनलोड किया जा सकता है।

65000 टन के वजन के साथ एचएमएस क्वीन एलिजाबेथ ब्रिटेन में अब तक का सबसे बड़ा सतह पोत है। वह छह रॉयल नेवी जहाजों, एक रॉयल नेवी पनडुब्बी, एक अमेरिकी नौसेना विध्वंसक और नीदरलैंड से एक फ्रिगेट मे समुद्री और वायु शक्ति की सबसे बड़ा जमावरा है जो इस पीढ़ी में यूके से बाहर निकला है। यह पांचवीं पीढ़ी के एफ-35B लाइटनिंग मल्टी-रोल एयरक्राफ्ट्स से लैस है। उन्हें रॉयल एयरफोर्स, रॉयल नेवी और यूएस मरीन कोर द्वारा संयुक्त रूप से क्रू किया जा रहा है।

मीडिया

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डेविड रसेल, संचार प्रमुख
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प्रकाशित 25 October 2021